पाकिस्तान में हमारे प्रयास
पाकिस्तान में महिलाएं देश की आबादी का लगभग आधा हिस्सा हैं, फिर भी केवल 24 प्रतिशत ही कार्यबल में भाग लेती हैं।
रोजगार की तलाश करने वाली महिलाएं बड़े लिंग अंतर और वेतनभोगी काम के लिए घर से बाहर कदम रखने में हतोत्साहन के कारण अधिकतर नौकरी पाने में असमर्थ रहती हैं।
हमारा मानना है कि महिलाओं की भागीदारी बढ़ने से अर्थव्यवस्था पर महत्वपूर्ण प्रभाव पड़ सकता है। इससे आय असमानता कम करने, गरीबी दूर करने और शिक्षा को बढ़ावा देने में मदद मिलती है।
2019 में, शीवाइज ने कराची में स्थानीय संगठन और विश्वविद्यालयों के साथ साझेदारी में पायलट कार्यक्रम लर्न अर्न एंड ग्रो लॉन्च किया और महिला प्रतिभा के इस बड़े और कम उपयोग किए गए पूल का दोहन किया।
इसका उद्देश्य कौशल एवं विकास तथा आय सृजन मॉडल को दोहराना तथा महिलाओं को कार्यबल में शामिल होने में सहायता प्रदान करना था, तथा विशेष रूप से उन महिलाओं को सहायता प्रदान करना था जो गरीबी से जूझ रही हैं, काम पाने के संबंध में अनेक असुविधाओं का सामना कर रही हैं, तथा उन युवा लड़कियों को सहायता प्रदान करना था जो स्थायी आजीविका के लिए स्वरोजगार शुरू करना चाहती हैं।
संयुक्त विश्वविद्यालयों में 150 से अधिक छात्रों को कौशल एवं विकास तथा रोजगार अवधारणा से परिचित कराया गया। इस पहल में 50 से अधिक छात्रों ने भाग लिया तथा अपने व्यावसायिक विचारों को परिसर के बाकी सदस्यों, संकाय प्रमुखों तथा आयोजकों के समक्ष प्रस्तुत किया।